बुकनू नाम ही काफी है मुँह में पानी आने के लिए। कानपुर का बुकनू प्रसिद्ध होता है। वर्षों पहले वह स्वाद कानपुर की लड़कियाँ जब ब्याह कर लखनऊ आईं तो रसोई के खास नुस्खे साथ ले आईं। तब से बुकनू लखनऊ वाला भी प्रसिद्ध हो गया।
हमारे लखनऊ कानपुर की तरफ बुकनू खाने का बड़ा रिवाज़ है। पूड़ी हो,पराठा हो,मठरी हो, बासी हो या ताजी हो बुकनू मौके-बेमौके खाया जाता है। अमरूद की फांक हो या केला अथवा सेब एक बार बुकनू से खा कर देखिए पसंद न आये तो कहिएगा।
आज बुकनू की याद दिलाई शम्भूनाथ शुक्ला सर ने। तिकोना पराठा और बुकनू सुबह ही सुबह भोग लगा रहे थे। कितने सारे लोग ( जो पक्का युवा पीढ़ी के ही होंगें ) हैरान थे बुकनू का नाम सुनकर।
यूँ तो पारंपरिक बुकनू बनाने में कुल 22 आइटम लगता है पर हम कुछ शार्ट कट के समय में कुल छह चीज से भी काम चला लेते हैं। मजबूरी कोरोना काल का है और कुछ सामग्री अमीनाबाद से लानी होती है जहाँ पैदल चलकर ही खरीदारी सम्भव है और विशेषता ये कि आपको खुद नहीं चलना है बल्कि भीड़ धक्के मार कर आपको चलाती रहेगी, फिर भले ही आपको जाना हो ईरघाट पर भीड़ की अति कृपा से पहुँच जाइयेगा मीरघाट।
शार्ट कट भी अभी बता देती हूँ। वक्त जरूरत काम आता है।
अमचुर - 100 gm
सोंठ - 50 gm
सफेद मिर्च - 50 gm
जीरा पाउडर - 50 gm जीरा भूनकर पिसा हुआ
लाल मिर्च पाउडर - 50 gm ( या स्वादानुसार )
हींग - 1 tsp
काला नमक - 50 gm
सफेद नमक - स्वादानुसार
सेंधा नमक - 25 gm
सभी सामग्री अच्छी तरह मिलाकर एयर टाइट बोतल में भर लें।
जब मन करे खायें खिलायें।
अब आइये बात करें पारंपरिक बुकनू की जो दादी नानी बनाया करती थीं।
जब हम पारंपरिक बुकनू की बात करते हैं तो दादी नानी की रसोई का मसालदान बहुत याद आता है। यह मसालदान लकड़ी का आयातकार बना हुआ था जिसमें चौकोर खाने थे। इन्हीं खानों में मसाले भरे रहते। प्रतिदिन के लिए छोटा और साप्ताहिक प्रयोग के लिए बड़ा मसालदान होता था। पत्थर की बरनी में खड़े मसाले रखे जाते थे। समय-समय पर उनको धूप दिखाना, हवा में परात में रखना आदि होता रहता।
ख़ैर ... मूल मुद्दा अब पहले। बुकनू बनाने में 22 सामग्री का गिनकर प्रयोग होता है। कुछ फ्राई की जाती हैं ,कुछ सूखी भूनी जाती हैं और कुछ सीधे मिलाई जाती हैं। चार स्टेप में बुकनू बनाने की प्रक्रिया पूरी होती है।
आइये कुछ सामग्री देख लें।
इसमें पड़ती है छोटी और बड़ी हर्र, बहेड़ा, पीपर, बायविरंग/वायविडंग , मरोड़ फली/केवण/कुपसी , सूखा आँवला, सोंठ, साबुत हल्दी आदि।
देसी घी का प्रयोग होता है तलने के लिए।
आँच चाहे तलते समय हो या भूनते समय धीमी रखी जाती है जिससे हर्र, बहेड़ा, हल्दी आदि जलें नहीं। जीरा आदि अच्छे से भुन जायें और उनमें सोंधापन आये।
मसालों को अच्छी तरह बीन-बिचार लीजियेगा।
बहेड़ा को तलने से पहले तोड़कर उसका बीज जिसे गुठली कहते हैं निकाल दीजियेगा।
बड़ी और छोटी इलायची के दाने निकाल लीजियेगा।
तलने के बाद ठंडा हो जाने पर खड़े मसालों को छोटे टुकड़ों में इमामदस्ते /खल्लड़ में तोड़ लीजियेगा और मिक्सी में पाउडर करने से पहले थोड़ा नमक साथ में अवश्य डाल लीजियेगा जिससे मसाला आसानी से बारीक हो जाये।
Ingredients :
1. छोटी हर्र - 25 gm
2. बड़ी हर्र - 25 gm
3. बहेड़ा - 25 gm
4. पीपर - 10 gm
5. बायविरंग - 10 gm
6. मरोड़फली - 10 gm
7. साबुत हल्दी - 40 gm
8. बड़ी इलायची - 5,6 इलायची के दाने
9. छोटी इलायची - 10 , दाने निकले हुए
10. सोंठ - 20 gm
11. सौंफ मोटी - 15 gm
12. जीरा - 15 gm
13. अजवायन - 15 gm
14. हींग - 2,3 gm
15. लाल मिर्च - स्वादानुसार
16. सफेद मिर्च - 15 gm
17. सूखा आँवला - 25 gm
18. अमचुर - 200 gm / स्वादानुसार
19. काला नमक - 75 gm
20. सेंधा नमक - 25 gm
21. सादा नमक - 125 gm / स्वादानुसार
22. देसी घी - 1 tbsp
Method :
Step 1
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1 tbsp देसी घी को कढ़ाई में गर्म कीजिये। आँच धीमी रखिये।
सबसे पहले हर्र , बहेड़ा, सोंठ को हल्का लाल होने तक लगातार चलाते हुए फ्राई करें।
अब इसी घी में हल्दी लाल होने तक फ्राई करें।
यह सामग्री थाली पर फैला कर ठंडी होने दें।
2nd Step
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जीरा, अजवायन, हींग,सौंफ, बड़ी इलायची को हल्का भूरा होने तक भून लें और प्लेट पर ठंडा होने के लिए फैला दें।
पीपर, मरोड़फली को 3,4 मिनट तक भूने और प्लेट पर निकालें।
बायविरंग को 3 मिनट तक भूनकर प्लेट पर निकालें।
सूखा आँवला भूने। 2 से 3 मिनट बाद उसे भी प्लेट पर ठंडा होने के लिए रखिये।
अच्छा होगा यदि सूखी भुनाई के लिए भारी तले का बरतन प्रयोग किया जाए।
Step 3
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जितने खड़े मसाले हैं उन्हें इमामदस्ते /खल्लड़ में छोटे टुकड़े कर लें।
अब उन्हें बारीक होने तक मिक्सी में पीस लें।
जीरा, सौंफ, हींग, अजवायन को पाउडर कर लें।
छोटी इलायची पाउडर कर लें।
Step 4
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अब सब पाउडर किये मसाले, पिसी हुई छोटी इलायची का पाउडर, नमक, सेंधा नमक, काला नमक, लाल मिर्च पाउडर, जीरा, अजवायन वाला पाउडर और अमचुर बहुत अच्छी तरह मिला लें।
इस मिक्सचर को छान लें। शेष बचे मोटे मसालों को फिर से मिक्सी में चलकर छान लें।
एक बार फिर से छाने हुए मसालों को एक साथ मिला लें।
आपका बुकनू तैयार है।
एयर टाइट बोतल में भरकर रखें।
चलते-चलते वही पुराना आग्रह ब्लॉग को follow कर लीजिए और अपनी राय कमेंट बॉक्स में हो सके तो अवश्य दीजिये।